हिसार (Hisar) के गांव स्याहड़वा में रविवार को खराब मोटर निकालने के लिए करीब 40 फुट गहरे कुएं में उतरे दो किसान मिट्टी दरकने से दब गए थे। उन्हें बचाने के लिए पिछले लगभग 24 घंटों से जारी अभियान के बाद एक किसान का शव मिट्टी से बरामद हुआ है। फिलहाल दूसरे किसान की तलाश जारी है।
रविवार सुबह करीब 7.30 बजे से कुएं में फंसे किसानों को निकालने के लिए ग्रामीणों ने अपने स्तर से काफी प्रयास किया। हालांकि उन्हें इसमें कोई कामयाबी नहीं मिली। अधिकारियों के निर्देश पर शाम करीब चार बजे आर्मी और एनडीआरएफ की टीम ने कुएं के मलबे में दबे किसानों को निकालने के लिए अभियान शुरू किया।
बता दें कि गांव स्याहड़वा निवासी 52 वर्षीय जयपाल हुड्डा अपने हिस्सेदार 46 वर्षीय जगदीश और अपनी पत्नी सावित्री देवी के साथ खेत में गए थे। यहां वह जगदीश को लेकर 40 फीट गहरे कुएं में लगी मोटर को निकालने के लिए लोहे की सीढ़ियों के जरिये कुएं में उतर गए। सुबह करीब सात बजे वह मोटर वाले फट्टे पर कार्य कर रहे थे। इसी बीच करीब 7.15 बजे कुए की मिट्टी दरक गई और दोनों कुएं में मलबे में दब गए।
मिट्टी दरकने की आवाज सुनकर सावित्री ने चिल्लाना शुरू कर दिया। सावित्री की आवाज सुनकर जयपाल का भतीजा अनुराग व अन्य किसान मौके पर पहुंचे। किसानों ने गांव में फोन कर अन्य लोगों को घटना की जानकारी दी। यहां तक की किसानों को बचाने के लिए लोग रस्सी लेकर कुएं में भी उतरे। हालांकि अंदर मिट्टी गिरते देख लोग वापस ऊपर आ गए। किसानों ने ट्रैक्टर, जेसीबी, पोकलेन के जरिये कुएं के साइड से खुदाई शुरू कर दी।
सुबह करीब दस बजे एसडीएम अशवीर नैन और नायब तहसीलदार ललित जाखड़ मौके पर पहुंचे। अधिकारियों ने मौके का जायजा लिया और बचाव कार्य को तेज करने को कहा। करीब 5.15 बजे डीसी डॉ. प्रियंका सोनी और एसपी लोकेंद्र सिंह भी घटनास्थल पर पहुंचे।
शाम करीब चार बजे आर्मी की टुकड़ी भी मौके पर पहुंच गई। कर्नल अमरजीत के नेतृत्व में पहुंची आर्मी की टीम ने ग्रामीणों की तरफ से की जा रही खुदाई को बंद करवा दिया। आर्मी अधिकारियों ने कहा कि इस तरह की खुदाई से मिट्टी ज्यादा धंस जाएगी। इतना ही नहीं कुएं की दीवारें भी नीचे की ओर ढह जाएंगी। आर्मी ने मौके पर शटरिंग का सामान मंगवा कर कुएं की दीवार को तोड़ना शुरू किया।