कथित फर्जी डिग्री मामले (Fake Degree Case) में पुलिस की विशेष जांच टीम (SIT) एपी गोयल विश्वविद्यालय पर शिकंजा कसने की तैयारी कर रही है। एसआईटी ने गुरुवार को विश्वविद्यालय के विधि विभाग के पूर्व एचओडी से काफी लंबी पूछताछ की। बता दें कि विवि पर फर्जी डिग्री आवंटन के आरोप में केस दर्ज है।
एसआईटी ने जिस अधिकारी से लंबी पूछताछ की है, वह विश्वविद्यालय में साल 2013 से 2019 तक सेवाएं देते रहे हैं। अब वह असम में रहते हैं। विवि के खिलाफ 2 मई 2020 को मामला दर्ज किया गया था। सूत्रों के मुताबिक, विवि ने अभी तक हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) और बाहरी राज्यों के 1908 विद्यार्थियों को डिग्रियां दी हैं। एसआईटी ने इसका रिकॉर्ड जब्त कर लिया है।
ये डिग्रियां सही हैं या फर्जी है, इसकी जांच तेजी से की गई है। उधर, एपी गोयल विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर रमेश कुमार ने बताया कि विश्वविद्यालय ने किसी भी विद्यार्थी को कोई फर्जी डिग्री नहीं दी है। विशेष जांच दल को पूरा रिकॉर्ड दे दिया गया है।
सरकार को भी इसकी सूचना दे दी गई है। उन्होंने कहा कि जो अधिकारी यह आरोप लगा रहे हैं, वह विवि को नुकसान पहुंचाने का प्रयास कर रहे हैं। जो भी डिग्रियां अब तक दी गई हैं, वे सभी सही हैं।