हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि राज्यपाल की गरिमा को ठेस पहुंचाना बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। राज्यपाल सर्वाेपरि है, इसलिए विधायकों का निलंबन सही है। वही, विपक्ष के वाकआउट के बाद विपक्षी सदस्यों पर की गई कार्रवाई को जायज ठहराते हुए सदन के नेता ने कहा कि राज्यपाल की गरिमा को ठेस पहुंचाने को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। सदन ने जो कार्रवाई विपक्षी विधायकों के निलंबन की है वह भी जायज की गईं है।
उन्होंने कहा, 'कांग्रेस में वरिष्ठ नेतृत्व की कमी है। प्रदेश और राष्ट्रीय स्तर पर वरिष्ठ नेतृत्व की जरूरत है, जो दिशाहीन कांग्रेस को सही मार्गदर्शन दे सके।
विपक्ष विधानसभा परिसर में ही था इसलिए वह सदन में आना चाहता तो चार मिनट में भी आ सकता था लेकिन विपक्ष की मंशा सदन में आने की नहीं थी।'
इसके अलावा प्रतिपक्ष के नेता सहित पांच विधायको के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने पर सीएम जयराम ठाकुर ने कहा कि राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति और राज्यपाल संवैधानिक पद पर बैठे है इसलिए यदि इनके साथ बदसलूकी, दुर्व्यवहार और गाड़ी को नुकसान पहुंचाया जाता है तो वह इसके दायरे में आता है इसलिए जो मामला धारा 124 के तहत दर्ज किया गया है।
उन्होंने कहा कि सरकार चाहती है कि विपक्ष सदन में उपस्थित रहे, लेकिन विपक्ष नहीं चाहता है कि सदन की कार्यवाही शांतिपूर्ण चले इसलिए हर रोज नए झूठ बोल रहा है, जिससे जनता में विपक्ष जग हसाई का पात्र बन गया है। मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि नेता प्रतिपक्ष इस्तेमाल की गई भाषा भी जायज नहीं है, इसलिए उनको अपनी भाषा पर लगाम लगानी चाहिए।
उन्होंने कहा कि राज्यपाल के साथ विपक्ष ने सही व्यवहार नहीं किया है जिसकी जितनी निंदा की जाए वह कम है। वही, विपक्ष के वाकआउट की निंदा करते हुए सीएम जयराम ठाकुर ने कहा कि विपक्ष सुर्खियों में बना रहना चाहता है।