भारत के लिए पंजाब नेशनल बैंक को करोड़ों रुपये का चूना लगाने वाले हीरा कारोबारी नीरव मोदी को वापस लाने में दिक्कतें और बढ़ सकती हैं क्योंकि ब्रिटिश प्राधिकारियों ने भारतीय जांच एजेंसियों को सूचित किया है कि वह भारत द्वारा सौंपे जाने वाले जांच दस्तावेजों को मोदी के साथ साझा कर सकते हैं। बता दें यदि इन दस्तावेजों को मोदी के साथ साझा किया जाता है तो वह इनका इस्तेमाल अपने पक्ष में कर सकता है और कोर्ट में झूठे तथ्य पेश कर सकता है।
वहीं ब्रिटिश प्राधिकारियों ने कहा है कि नीरव मोदी ने पीएनबी बैंक घोटाले की रकम को ब्रिटेन के बैंक में जमा नहीं करवाया होगा। भारतीय एजेंसियों ने यूके के इस दावे पर अपनी नाराजगी जाहिर की है।
बता दें जांच एजेंसियों ने यूके के प्राधिकारियों से नीरव को गिरफ्तार करने के साथ ही कई दूसरे आग्रह किए थे। ब्रिटिश एजेंसी यूके सीरियस फ्रॉड ऑफिस (एसएफओ) ने एक पत्र लिखकर भारतीय एजेंसियों से पीएनबी बैंक घोटाले का विवरण मांगा था। एसएफओ ने यह भी बताया कि यूके के कानून में ऐसा प्रावधान है जिसके तहत भारत के आग्रह या पत्र को संदिग्ध (नीरव) के साथ साझा किया जा सकता है।